मुंडोता किला (Mundota Fort) 
Jaipur-Hindi

मुंडोता किला- 450 साल पहले जयपुर की रक्षा करने वाला यह पराक्रमी किला आज लक्ज़री 5 स्टार प्रॉपर्टी है

वर्षों के जीर्णोद्धार के बाद, मुंडोता किला (Mundota Fort) अब भारत के पहले लक्जरी हेरिटेज पोलो रिसॉर्ट का हिस्सा है।

Aastha Singh

मुंडोता किला (Mundota Fort), 450 से अधिक वर्षों के समृद्ध इतिहास के साथ एक अत्यधिक खूबसूरत विरासत स्थल है जो नरुका राजपूतों (Naruka Rajput) द्वारा 14वीं शताब्दी की शुरुआत में जयपुर से 30 मिनट की दूरी पर मुंडोटा गांव में बनाया गया था। अरावली पर्वतमाला (Aravalli Range) की पहाड़ी की चोटी पर स्थित, जयपुर का किला न केवल सुंदर और कलात्मक रूप से डिजाइन किया गया महल है, बल्कि सदियों से शहर पर हमलों के खिलाफ रक्षा की एक प्रारंभिक पंक्ति भी प्रदान करता है।

मुंडोता किला

तलहटी में, महल का निर्माण 15वीं शताब्दी के अंत में नाथजी (प्रसिद्ध नथावत वंश के वंशज) द्वारा किया गया था, जो आमेर के राजा पृथ्वीराज के पोते थे। मुंडोता के ठाकुर असाधारण बहादुरी के लिए जाने जाते थे, जिन्होंने कई उल्लेखनीय लड़ाई लड़ी थी; जैसे काबुल, गजनी, काकौर, मवांडा, कुशल पंचोल आदि। बाद में एक भयंकर युद्ध के बाद नाथावत राजपूतों ने इसे जीत लिया। वर्षों के जीर्णोद्धार के बाद, किला अब भारत के पहले लक्जरी हेरिटेज पोलो रिसॉर्ट का हिस्सा है।

एक सदी के बाद, लक्जरी हेरिटेज स्थापना

एक शानदार 5-सितारा संपत्ति

लगभग एक सदी के बाद, वर्ष 1550 में, मुगल सम्राट अकबर के समकालीन ठाकुर जसवंत सिंह ने किले की तलहटी पर एक महल बनाने का फैसला किया। शानदार नथावत वंश के इस वंशज के बाद आने वाली पीढ़ियों ने महल का और विस्तार किया और इसकी महिमा में इज़ाफ़ा किया। हालांकि, किले ने समय के चलते होने वाले अतिक्रमण और वर्षों के परित्याग के आगे घुटने टेक दिए थे।

महल की बहाली फ़िर एक कठिन चुनौती बन गयी थी क्योंकि पहाड़ियाँ की चढ़ान बहुत खड़ी थीं और शिखर तक पहुँचने के लिए कोई रास्ता नहीं था। हालांकि, महल के स्वामी संपत्ति को बहाल करने में कामयाब रहे और इसे जनता के लिए भी खोल दिया। सात वर्षों के जीर्णोद्धार के बाद, यह किला और महल अब एक शानदार 5-सितारा संपत्ति है जिसमें कोई भी रह सकता है।

भारत के पहले लग्जरी हेरिटेज पोलो रिसॉर्ट के अंदर का नज़ारा

अत्याधुनिक सुविधाएं

महल और किला, आज अपने पूरी महिमा में अपने साहसी संरक्षकों की कहानी कहता है। मूल संरचना और शैली को बरकरार रखते हुए अत्याधुनिक सुविधाओं के साथ मुंडोता किला इस क्षेत्र के सबसे लुभावने यात्रा स्थलों में से एक में बदल दिया गया है।

पारंपरिक आंगन

10 एकड़ में फैली यह हवेली पारंपरिक आंगनों, छतों, मंडपों और उद्यानों के साथ राजपूत-मुगल वास्तुकला का एक रत्न है, जहाँ खूबसूरत पक्षियों और नाचते हुए मोर इस स्थान की आभा को एक विशिष्ट प्राकर्तिक रुप भी देते हैं। मुंडोता प्राचीन राजसी सजावट और आधुनिक सुविधाओं का एक आदर्श मिश्रण हैं।

अद्वितीय सुइट

इस तथ्य पर विशेष जोर देने के साथ कि यह एक रणनीतिक योद्धा किला था, जिसका उद्देश्य शाही ख़ानदानों को जगह देने के बजाय रक्षा करना था, इस असाधारण होटल की साज-सज्जा निरा और न्यूनतम है। प्रत्येक सुइट, कमरा और तंबू अद्वितीय है, जो एक तरफ़ स्वागत योग्य माहौल तैयार करता है और दूसरे पल मेहमानों को एक लक्ज़री होटल जैसा महसूस कराता है।

एक क्यूरेटेड रॉयल अनुभव

भारत का एकमात्र सक्रिय मुंडोटा पोलो ग्राउंड

हेरिटेज संपत्ति और 80 अस्तबल के साथ भारत का एकमात्र सक्रिय पोलो ग्राउंड, जो भारत के कुछ बेहतरीन घोड़ों का घर है, यह स्थान घुड़सवारी के प्रेमियों के लिए आदर्श है। निजी पोलो मैचों का आनंद लेने के अलावा, मेहमान पांच सितारा संपत्ति द्वारा क्यूरेट किए गए किसी भी अनुभव का आनंद ले सकते हैं। मुंडोटा पोलो ग्राउंड (Mundota polo ground) में सन-डाउनर में शैंपेन का आनंद लेने से लेकर स्टेप वेल में भोजन करने तक, जीप सफारी, हेरिटेज वॉक, बुर्ज डाइनिंग, ग्रामीण भ्रमण आदि में से चुनने के लिए ढेर सारे विकल्प हैं। यह लग्जरी प्रॉपर्टी आपके प्रवास को यादगार बनाने में कोई कसर नहीं छोड़ती है।

सुंदर राजस्थानी फ़्रेस्को

मूंडोता किला बीते समय के अपने बहादुर और वफ़ादार संरक्षकों की कहानी बयां करता है और साथ ही आज के अत्याधुनिक समय की शाही लक्ज़री भी प्रदान करता है। यदि आप भी हमेशा से महलों के राजसी जीवन की ओर खुद को आकर्षित पाते हैं तो मुंडोता किले के कमरों और सुइट्स में ठहरने की योजना बनाइये जो सुंदर राजस्थानी फ़्रेस्को और उत्कृष्ट नक्काशीदार चार-पोस्टर बिस्तरों के साथ आपको नवाज़ेगा।

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